AQI in Delhi: प्रदूषण से दिल्ली बनी गैस चेंबर, सरकार और जनता को क्या करना चाहिए?

दिल्ली में वायु प्रदूषण खतरनाक स्तर पर पहुंच चुका है। वायु गुणवत्ता सूचकांक (AQI) 400 के पार पहुंच गया है, जो “गंभीर” श्रेणी में आता है। जहरीली हवा से लोगों को सांस लेने में तकलीफ, आंखों में जलन, और फेफड़ों की बीमारियों का सामना करना पड़ रहा है। बढ़ता प्रदूषण न केवल स्वास्थ्य के लिए खतरनाक है, बल्कि यह दिल्ली के पर्यावरण और जीवन स्तर पर भी गंभीर प्रभाव डाल रहा है।

प्रदूषण के बढ़ने के कारण
1. वाहनों का बढ़ता धुआं: दिल्ली में वाहनों की संख्या में तेजी से वृद्धि हो रही है। पेट्रोल और डीजल से निकलने वाला धुआं वायु प्रदूषण का प्रमुख कारण है।

2. पराली जलाना: हर साल सर्दियों में पंजाब, हरियाणा और उत्तर प्रदेश में पराली जलाने से दिल्ली की हवा में जहरीले कणों की मात्रा बढ़ जाती है।

3. निर्माण कार्य और धूल: दिल्ली में चल रहे निर्माण कार्यों से निकलने वाली धूल PM2.5 और PM10 के स्तर को बढ़ा रही है।

4. औद्योगिक प्रदूषण: दिल्ली और इसके आसपास स्थित फैक्ट्रियों से निकलने वाले जहरीले धुएं का सीधा असर वायु गुणवत्ता पर पड़ता है।

5. सर्दियों में मौसम की स्थिति: ठंड के मौसम में हवा की गति धीमी हो जाती है, जिससे प्रदूषक कण वातावरण में लंबे समय तक बने रहते हैं।

प्रदूषण के खतरनाक प्रभाव
1. सांस की बीमारियां जैसे अस्थमा, ब्रोंकाइटिस और फेफड़ों का कैंसर।
2. हृदय रोग और उच्च रक्तचाप।
3. बच्चों और बुजुर्गों की रोग प्रतिरोधक क्षमता में कमी।
4. मानसिक स्वास्थ्य पर नकारात्मक प्रभाव।

सरकार को क्या कदम उठाने चाहिए?
1. वाहन नियंत्रण: इलेक्ट्रिक वाहनों को बढ़ावा देना। सार्वजनिक परिवहन को अधिक प्रभावी और सुलभ बनाना।

2. पराली जलाने पर रोक: किसानों को पराली जलाने के विकल्प उपलब्ध कराना, जैसे कि मशीनरी और सब्सिडी।

3. औद्योगिक नियम: फैक्ट्रियों में प्रदूषण नियंत्रण उपकरण अनिवार्य करना।

4. निर्माण कार्यों पर निगरानी: निर्माण स्थलों पर धूल रोकने के उपाय जैसे कि पानी का छिड़काव और कवरिंग।

5. ग्रीन कवर बढ़ाना: बड़े पैमाने पर वृक्षारोपण अभियान चलाना।

आम जनता को क्या करना चाहिए?
1. कारपूलिंग और पब्लिक ट्रांसपोर्ट: व्यक्तिगत वाहनों का कम उपयोग करें।

2. अपशिष्ट प्रबंधन: कचरा जलाने से बचें।

3. घरों में हरियाली: बालकनी और छत पर पौधे लगाएं।

4. मास्क का उपयोग: बाहर निकलते समय एन95 मास्क का उपयोग करें।

5. ऊर्जा बचत: बिजली की खपत कम करें और सौर ऊर्जा को अपनाएं।

प्रातिक्रिया दे

आपका ईमेल पता प्रकाशित नहीं किया जाएगा. आवश्यक फ़ील्ड चिह्नित हैं *