गुजरात पुलिस ने अवैध तरीके से रह रहे विदेशी नागरिकों के खिलाफ एक बड़ा अभियान चलाते हुए अहमदाबाद और सूरत शहरों में धड़ाधड़ कार्रवाई की है। इस संयुक्त ऑपरेशन में 500 से ज्यादा संदिग्धों को हिरासत में लिया गया है, जिनमें से बड़ी संख्या में बांग्लादेशी नागरिक शामिल बताए जा रहे हैं। यह राज्य में अब तक की सबसे बड़ी कार्रवाई मानी जा रही है, जिसे केंद्र और राज्य सरकार के निर्देशों के तहत अंजाम दिया गया।
कहां-कहां हुई कार्रवाई?
1. अहमदाबाद के चंदोला झील क्षेत्र से सबसे बड़ी संख्या में अवैध प्रवासियों को पकड़ा गया। अकेले यहां से 457 संदिग्ध घुसपैठिए हिरासत में लिए गए।
2. सूरत से भी बड़ी संख्या में संदिग्ध विदेशी नागरिक पकड़े गए हैं।
3. पुलिस ने बताया कि कई संदिग्ध बिना वैध दस्तावेजों के भारत में रह रहे थे और फर्जी पहचान पत्र भी बरामद किए गए हैं।
कौन हैं ये संदिग्ध?
1. पकड़े गए अधिकतर लोग बांग्लादेश से अवैध रूप से भारत में प्रवेश कर गुजरात के औद्योगिक इलाकों में रह रहे थे।
2. ये लोग छोटे मोटे कामों, निर्माण स्थलों और मजदूरी कार्यों में लगे हुए थे, लेकिन इनके खिलाफ मानव तस्करी, फर्जी दस्तावेज बनाने और सुरक्षा जोखिम जैसे गंभीर आरोप भी जांच के दायरे में हैं।
कैसे हुई यह कार्रवाई?
1. गुजरात पुलिस ने कई विभागों के साथ मिलकर संयुक्त अभियान चलाया।
2. खुफिया एजेंसियों से मिले इनपुट के आधार पर चंदोला झील और आसपास के इलाकों में सघन तलाशी अभियान चलाया गया।
3. संदिग्धों की पहचान आधार कार्ड, वोटर आईडी और अन्य दस्तावेजों के सत्यापन से की गई। कई लोगों के पास जाली दस्तावेज पाए गए।
पुलिस और प्रशासन का बयान
गुजरात पुलिस के वरिष्ठ अधिकारियों ने बताया कि—
1. अवैध रूप से रह रहे विदेशियों की उपस्थिति से सुरक्षा के लिहाज से खतरा बढ़ता है।
2. सभी हिरासत में लिए गए लोगों से पूछताछ की जा रही है और उनके खिलाफ विदेशी नागरिक अधिनियम (Foreigners Act) तथा पासपोर्ट एक्ट के तहत कार्रवाई होगी।
3. कुछ संदिग्धों के खिलाफ फर्जी दस्तावेज बनाने वाले स्थानीय नेटवर्क की भी जांच शुरू कर दी गई है।
आगे की कार्रवाई
1. गुजरात पुलिस ने सभी पकड़े गए विदेशी नागरिकों का वेरिफिकेशन शुरू कर दिया है।
2. जिनके पास वैध दस्तावेज नहीं मिलेंगे, उन्हें जल्द ही डिपोर्ट (निर्वासित) किया जाएगा।
3. इस कार्रवाई के बाद अन्य इलाकों में भी इसी तरह के सघन तलाशी अभियान की योजना है।
राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़ा बड़ा मामला
यह मामला केवल अवैध प्रवास तक सीमित नहीं है, बल्कि इससे देश की आंतरिक सुरक्षा को खतरा बताया जा रहा है। आशंका जताई जा रही है कि कई संदिग्ध अपराध गतिविधियों में शामिल हो सकते हैं या संभावित आतंकी नेटवर्क से जुड़े हो सकते हैं। इसलिए इस जांच को बेहद संवेदनशीलता से आगे बढ़ाया जा रहा है।