धर्मपाल गुलाटी : एक तांगे से विश्वप्रसिद्ध कंपनी तक का सफर

Dharampal Gulati

Dharampal Gulati Biography in Hindi.

Dharampal Gulati, Founder & Former CEO of MDH (Mahashian Di Hatti).

जन्म : 27 मार्च 1923, सियालकोट, पाकिस्तान
पिता : महाशय चुन्नीलाल गुलाटी
मां : माता चानन देवी
पहचान : MDH के Founder
सम्मान : पद्मभूषण (2019)
मृत्यु : 3 दिसंबर 2020, नई दिल्ली

एक कंपनी, जिसके विज्ञापनों का मुख्य मॉडल एक बुजुर्ग आदमी, वह कंपनी है मसालों की प्रसिद्ध कंपनी MDH और मॉडल है MDH के Founder स्व. धर्मपाल गुलाटी जी। MDH के विज्ञापनों की Tagline भी हुआ करती थी, “असली मसाले सच सच, MDH”। धर्मपाल जी ने पहले दिल्ली में तांगा चलाया और एक छोटी सी अस्थायी दुकान से शुरू करके मसालों की प्रसिद्ध कंपनी MDH बनाई। आज जानिए फर्श से शुरुआत करके MDH को अर्श तक पहुंचाने की उनकी कहानी –

कौन है धर्मपाल गुलाटी
MDH के संस्थापक और उसके Brand Ambassador धर्मपाल गुलाटी जी का जन्म 27 मार्च 1923 को पाकिस्तान के सियालकोट में हुआ था। उनके पिता का नाम महाशय चुन्नीलाल गुलाटी और माता का नाम चानन देवी था। उन्होंने पांचवीं तक की पढ़ाई की, बाद में पढ़ाई में मन ना लगने के कारण उन्होंने स्कूल छोड़ दिया और पिताजी के साथ काम करने लगे। उसके कुछ समय बाद उन्होंने पिताजी की मदद से खुद का व्यापार शुरू किया। सब कुछ अच्छा चल रहा था कि तभी देश का बंटवारा हो गया।

परिवार ने झेला बंटवारे का दंश
धर्मपाल गुलाटी जी का पारिवारिक Business अच्छा चल रहा था, तभी भारत ने एक दंश झेला। 1947 में एक तरफ भारत में आजादी का सवेरा हो रहा था, वहीं देश दो टुकड़ों में बंट गया। बंटवारे के कारण धर्मपाल गुलाटी जी को अपना सबकुछ पाकिस्तान में छोड़कर भारत आना पड़ा। उस समय उनके पास सिर्फ 1500 रूपए थे। धर्मपाल गुलाटी जी का परिवार दिल्ली पहुंचा और उन्होंने 1500 रूपए में से 650 रुपए में एक तांगा खरीदा और दिल्ली में तांगा चलाने लगे।

से हुई MDH की शुरूआत
तांगे की कमाई में से बचत करके धर्मपाल जी 1958 में करोल बाग में एक छोटी सी अस्थायी दुकान में मसालों का व्यापार करने लगे और इसका नाम रखा MDH । दरअसल 1919 में धर्मपाल जी के पिता ने पाकिस्तान में मसालों का व्यापार शुरू किया था, जिसका नाम था “महाशियां दी हट्टी (MDH)”। धर्मपाल जी ने इसी नाम से अपनी दुकान की शुरूआत की। उनके मसालों की अच्छी Quality के कारण धर्मपाल जी की दुकान MDH जल्द ही विख्यात हो गई। इसके बाद उन्होंने 1959 में दिल्ली के कीर्ति नगर में MDH की पहली फेक्ट्री की शुरूआत की।

आज MDH भारत सहित दुनिया में मसालों का एक विश्वसनीय Brand बन चुका है और MDH के मसाले विदेशों भी Supply होते हैं। रतन टाटा की तरह ही धर्मपाल जी भी अपनी अधिकतर आय दान में दे दिया करते थे, इसीलिए उन्हें 2019 में पद्मभूषण से सम्मानित किया गया था। 3 दिसंबर 2020 को दिल्ली में धर्मपाल जी गुलाटी की मौत हो गई थी। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार 2023 में MDH की नेटवर्थ 5 हजार करोड़ रुपए थी।

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