पाकिस्तानी सेना की बर्बरता: बलूच प्रदर्शनकारियों पर गोलीबारी में महिलाओं और बच्चों की मौत

पाकिस्तान के बलूचिस्तान प्रांत में हालिया घटनाओं ने एक बार फिर से क्षेत्र में मानवाधिकारों की चिंताओं को उजागर किया है। पाकिस्तानी सेना और पुलिस द्वारा बलूच प्रदर्शनकारियों पर की गई कार्रवाई में महिलाओं और बच्चों समेत कई निर्दोष नागरिक हताहत हुए हैं।

क्वेटा में शांतिपूर्ण प्रदर्शन पर गोलीबारी
हाल ही में क्वेटा में आयोजित एक शांतिपूर्ण प्रदर्शन के दौरान पाकिस्तानी सुरक्षा बलों ने प्रदर्शनकारियों पर गोलीबारी की, जिसमें महिलाओं और बच्चों समेत कई लोग घायल हो गए। बलूच नेता मेहरांग बलूच ने आरोप लगाया है कि पुलिस ने निहत्थे प्रदर्शनकारियों पर फायरिंग की और लोगों को जबरदस्ती दबाने का प्रयास किया।

बलूच विद्रोहियों के शवों को लेकर तनाव
क्वेटा के सिविल अस्पताल में बलूच लिबरेशन आर्मी (BLA) के विद्रोहियों के शव रखे गए थे, जो हाल ही में जाफर एक्सप्रेस ट्रेन अपहरण के दौरान पाकिस्तानी सेना के साथ मुठभेड़ में मारे गए थे। प्रदर्शनकारी इन शवों को अस्पताल से ले गए, जिससे क्षेत्र में तनाव और बढ़ गया है।

बलूचिस्तान में विद्रोह जैसे हालात
पाकिस्तानी सेना ने बलूचिस्तान में बलूच आंदोलनकारियों के खिलाफ दमन चक्र शुरू कर दिया है। ग्वादर में प्रदर्शन कर रहे बलूचों पर सेना ने हमला किया, जिसमें कई लोग घायल हुए हैं। ग्वादर आने वाले सभी रास्तों को बंद कर दिया गया है, जिससे हजारों लोग फंसे हुए हैं।

बलूचिस्तान में संघर्ष की बढ़ती घटनाएं
पिछले महीने बलूचिस्तान के कालात जिले में पाकिस्तानी सुरक्षा बलों और विद्रोहियों के बीच हुई मुठभेड़ में 18 सैनिक और 23 विद्रोही मारे गए थे। यह घटना क्षेत्र में बढ़ते संघर्ष और अस्थिरता को दर्शाती है।

बलूचिस्तान में जारी संघर्ष और मानवाधिकार हनन की घटनाएं अंतरराष्ट्रीय समुदाय के लिए गंभीर चिंता का विषय हैं। शांतिपूर्ण समाधान और संवाद के माध्यम से ही इस समस्या का स्थायी समाधान संभव है।

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